1100 बीघा फ़र्ज़ी जमीन आवंटन में एसडीएम और तहसीलदार समेत 378 पर एफआईआर दर्ज

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जनपद मैनपुरी के करहल तहसील के गांव सहन में बांटी गई अपात्रों को 11 सौ बीघा जमीन/पूरे मामले तत्कालीन एसडीएम समेत 378 लोगों पर जमीन घोटाले में हुई एफआईआर दर्ज/बर्तमान प्रधान की शिकायत पर जांच में पकड़ा गया था पूरा मामला/इस पूरे मामले तत्कालीन एसडीएम,तहसीलदार समेत पूरी राजस्व की पूरी टीम पर एफआईआर हुई दर्ज/डीएम पी के उपाध्याय के आदेश के बाद जमीन आवंटन घोटाले में जांच की हुई पुष्टि/मैनपुरी के थाना करहल में एसडीएम समेत 378 लोगों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज/एसडीएम विजय प्रताप यादव तहसीलदार सुरजीत के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज..

जी हाँ मैनपुरी जनपद का सबसे बड़ा जमीन घोटाला बताए जा रहे सहन ग्रामसभा प्रकरण में हर कदम पर फर्जीवाड़ा किया गया।कागजों पर ही ग्रामसभा की बैठक दर्शा दी गई।पट्टा आवंटन के लिए बाहरी लोगों को ग्राम सभा क्षेत्र का निवासी बताया गया और तारीखों में हेरफेर भी हुआ।खेल में शामिल अफसरों ने भी कई बार गलत जानकारियां देकर इसे छिपाने की कोशिश की।अब डीएम के आदेश पर हुई जांच के बाद परत दर परत सभी गड़बड़ियां सामने आ रही हैं।ग्राम सभा सहन की 11 सौ बीघा जमीन में पट्टा आवंटन के लिए अंधेरगर्दी की हदें पार की गई थीं। कागजों में बैठक कर आसपास के गांवों के लोगो के नाम आवंटियों में शामिल कर लिए। हेराफेरी करने को रजिस्टरों में ओवर राइटिंग की गई। प्रस्ताव पर मुहर ग्राम सभा के सदस्यो के दस्तखत फर्जी कर दिए। डीएम के आदेश पर कराई गई जांच के बाद इस मामले में तत्कालीन एसडीएम, तहसीलदार सहित 378 लोगों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कराई गई है।

आपको बता दें कि मौजूदा प्रधान अनीता देवी ने वर्ष 2015 में हुए इस जमीन घोटाले की शिकायत प्रशासन से की थी।डीएम पी के उपाध्याय के आदेश पर सीडीओ ने जांच की थी। सूत्रों के अनुसार, वर्ष 2013 से 2015 के बीच किए गए पट्टा आवंटन में व्यापक गड़बडि़यां मिलीं हैं।प्रधान अनीता और प्रधान पति के अनुसार तत्कालीन पूर्व प्रधान नीतू सिंह ने कागजों में खुली बैठक दर्शा दी। उक्त बैठक में ग्राम सभा के चार सदस्यों अरविद सिंह, वर्षा देवी, गोपाल सिंह व अनीता देवी के फर्जी हस्ताक्षर कर प्रस्ताव को पास दिखाया गया।इस हेराफेरी की जानकारी होने पर सदस्यों ने डीएम को लिखित में इस फर्जीवाड़ा की शिकायत की

इस पूरे प्रकरण में विशेष बात ये है कि इन सबको ग्राम पंचायत सहन के गांव टीकराहार का निवासी दर्शाया गया। वहीं ग्रामीणों के अनुसार-जिसके पास 100 बीघा जमीन है उसको भी ये पट्टे दिए गए है
पट्टा आवंटन में फर्जीवाड़ा की आशंका पर प्रधान अनीता देवी ने तत्कालीन तहसीलदार सुरजीत सिंह से लिखित सूचना मांगी थी कि ग्राम पंचायत सहन में कृषि योग्य भूमि के वर्ष 2013 से 2015 में पट्टे स्वीकृत किए गए हैं या नहीं।जवाब में तहसीलदार ने पट्टे न होने की जानकारी दी। तहसीलदार यहीं फंस गए। जब अभिलेखों को खंगाला गया तो सामने आया कि पिछली तारीखों में तहसील के भू अभिलेखों में लगभग 370 लोगों के नाम पट्टे स्वीकृत पाए गए। साथ ही 57 ख पत्रावली के साथ आर-सिक्स रजिस्टर में ओवर राइटिग मिली। कई आवंटियों के नाम में काट-पीट भी की गई थी।
सीडीओ की जांच के बाद पूर्व प्रधान नीतू देवी, वर्तमान तहसीलदार ने तत्कालीन एसडीएम, तहसीलदार, राजस्व निरीक्षक, लेखपाल व रजिस्ट्रार सहित 378 के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है।

मुकदमे में नामजद तत्कालीन एसडीएम विजय प्रताप वर्तमान में बागपत में तैनात हैं।व तत्कालीन तहसीलदार सुरजीत सिंह औरेया में अपनी सेवाएं दे रहे हैं।जबकि मुकदमे में रजिस्ट्रार सुरेश राठौर व लेखपाल रतन कुमार वर्तमान में सेवानिवृत्त हो चुके हैं।

बीओ-2-वही इस पूरे मामले में एसडीएम करहल का कहना है कि-उच्च स्तरीय जाँच में ये करीब 1100 बीघा जमीन के फ़र्ज़ी पट्टा आवंटन का मामला संज्ञान में आया था जिसमें और भी जाँच की जा रही है

बीओ-3-वहीं क्षेत्राधिकारी करहल का कहना है कि-इस पूरे मामले में 378 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है विवेचना की जा रही है
Sanjay Sharma Report Mainpuri Uttar Pradesh.

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